20 साल का इंतजार, 15 बार IVF फेल… फिर AI ने रच दिया संतान का चमत्कार!महिला को किया प्रेग्नेंट!

AI In Fertility – करीब दो दशकों तक संतान के लिए संघर्ष करने वाले एक दंपति की कहानी आज पूरी दुनिया के लिए प्रेरणा बन गई है। 15 बार IVF ट्रीटमेंट फेल हो चुका था, उम्मीदें टूट चुकी थीं, लेकिन तकनीक ने ऐसा चमत्कार कर दिखाया कि मेडिकल साइंस भी हैरान रह गया।

20 साल का इंतजार, 15 बार IVF फेल… फिर AI ने रच दिया संतान का चमत्कार!महिला को किया प्रेग्नेंट!

इस चमत्कार के पीछे है एक AI आधारित फर्टिलिटी टूल – STAR (Sperm Track and Recovery), जिसे Columbia University के वैज्ञानिकों ने विकसित किया है।

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यह सिर्फ मेडिकल साइंस की जीत नहीं, बल्कि धैर्य, टेक्नोलॉजी और इंसानी भावना की ताकत की मिसाल है। यह कहानी उन लाखों जोड़ों के लिए उम्मीद की नई किरण है जो सालों से निसंतान होने की पीड़ा झेल रहे हैं।

क्या है STAR और कैसे करता है काम?

STAR एक उन्नत AI तकनीक पर आधारित सिस्टम है जो उन सीमेन सैंपल में भी जीवित शुक्राणु खोज निकालता है, जिनमें सामान्य रूप से कोई स्पर्म दिखाई नहीं देता।

इसका काम करने का तरीका बेहद वैज्ञानिक और बारीक है:

Microfluidic Chip: सीमेन के घटकों को अलग करता है।

High-Speed Imaging: लाखों सूक्ष्म फ्रेम को रिकॉर्ड करता है।

Machine Learning Algorithm: हर इमेज का विश्लेषण करके छिपे हुए शुक्राणुओं की पहचान करता है।

डॉक्टर जिस प्रक्रिया को “सूई को भूसे के ढेर में ढूंढना” कहते हैं, STAR उसे महज कुछ घंटों में कर दिखाता है – और वो भी इतनी सटीकता से कि स्पर्म IVF के लिए पूरी तरह उपयुक्त होता है।

सिर्फ 44 शुक्राणु, लेकिन नई जिंदगी की शुरुआत

इस दंपति के केस में लैब टेक्नीशियन दो दिन तक लगातार जांच के बावजूद एक भी स्पर्म नहीं खोज पाए। लेकिन STAR ने केवल एक घंटे में 44 जीवित शुक्राणु पहचान लिए।

मार्च 2025 में इन्हीं शुक्राणुओं से बिना किसी हार्मोनल ट्रीटमेंट या सर्जरी के IVF प्रक्रिया की गई – और वह पूरी तरह सफल रही। अब यह दंपति अपने पहले बच्चे के जन्म का बेसब्री से इंतजार कर रहा है।

Azoospermia: पुरुषों में बांझपन का छिपा हुआ कारण

इस मामले में पति को Azoospermia नाम की स्थिति थी, जिसमें सीमेन में कोई भी स्पर्म मौजूद नहीं होता। यह स्थिति दो प्रकार की होती है:

Obstructive Azoospermia – स्पर्म बनता है लेकिन बाहर नहीं आ पाता।

Non-Obstructive Azoospermia – या तो स्पर्म बनता ही नहीं या बहुत कम मात्रा में बनता है।

इसके पीछे कई संभावित कारण हो सकते हैं:

जेनेटिक विकार

कीमोथेरेपी या कैंसर ट्रीटमेंट का प्रभाव

हार्मोनल गड़बड़ी

शराब/नशे की लत

शरीर की संरचना में गड़बड़ी

AI की अगली क्रांति: फर्टिलिटी ट्रीटमेंट में नई उम्मीद

STAR अभी केवल स्पर्म की पहचान करने में मदद करता है, लेकिन भविष्य में AI इन क्षेत्रों में भी बड़ी भूमिका निभा सकता है:

✔️ उच्च गुणवत्ता वाले एग और एम्ब्रायो की पहचान
✔️ IVF के सफल होने की संभावना का अनुमान
✔️ ट्रीटमेंट की पर्सनलाइज्ड योजना तैयार करना
✔️ रिप्रोडक्टिव टिशूज़ में सूक्ष्म दोषों का पता लगाना

टेक्नोलॉजी, धैर्य और विश्वास की जीत

इस प्रेरणादायक कहानी ने यह साबित कर दिया है कि जब विज्ञान, तकनीक और उम्मीद साथ मिल जाएं, तो असंभव भी संभव हो जाता है। STAR न सिर्फ मेडिकल साइंस की दुनिया में एक नई क्रांति है, बल्कि उन सभी जोड़ों के लिए एक नई सुबह है जो मातृत्व और पितृत्व का सपना संजोए बैठे हैं।

ऐसी ही इंस्पिरेशनल टेक न्यूज़ और हेल्थ इनोवेशन पढ़ते रहें powersmind.com पर। अगर आप भी किसी हेल्थ टेक इनोवेशन की जानकारी चाहते हैं, तो कमेंट या मैसेज जरूर करें।

Katyani Thakur
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